भारत-UK मुक्त व्यापार समझौता
भारत ने प्रमुख क्षेत्रों, विशेष रूप से वस्त्र, जूते, रत्न एवं आभूषण, तथा समुद्री उत्पादों में पर्याप्त बाजार पहुंच सफलतापूर्वक हासिल कर ली है तथा UK ने 20% तक के शुल्क को समाप्त करने पर सहमति व्यक्त की है।
मुख्य सफलताएँ
- भारत के खाद्य क्षेत्र को लगभग 99.7% टैरिफ लाइनों पर शुल्क समाप्त होने से लाभ होगा, जहां पहले टैरिफ 70% तक था।
- समुद्री खाद्य, डेयरी और मांस सहित समुद्री और पशु उत्पादों पर शुल्क को 20% से घटाकर शून्य कर दिया गया है।
- भारत ने ब्रिटिश कम्पनियों को सार्वजनिक खरीद निविदाओं में भाग लेने की अनुमति दे दी है तथा अपने ऑटोमोबाइल और मादक पेय बाजारों को खोल दिया है।
UK टैरिफ में कटौती
- एयरोस्पेस (11% से 0% तक), ऑटोमोटिव (110% से 10% तक) और विद्युत मशीनरी (22% से कम) पर टैरिफ में कटौती।
- भारत ने न्यूनतम आयात मूल्य सीमा के साथ UK में निर्मित शराब पर शुल्क में कटौती की अनुमति दी है, जिससे 10 वर्षों में शुल्क 110% से घटकर 75% हो जाएगा।
सरकारी खरीद और IPR
- भारत ने सरकारी निविदाओं में UK की कंपनियों को द्वितीय श्रेणी का दर्जा प्रदान किया है, जिसके तहत 20-50% घरेलू मूल्य संवर्धन की आवश्यकता होगी। यह घरेलू औद्योगिक विकास के लिए सार्वजनिक खरीद के उपयोग से एक रणनीतिक बदलाव को दर्शाता है।
- UK की कंपनियां तीसरे देशों से 80% तक इनपुट का उपयोग कर सकती हैं।
- भारत ने बौद्धिक संपदा अधिकार (IPR) पर सहमति जताते हुए UK के पेटेंट धारकों को अनिवार्य लाइसेंसिंग के स्थान पर स्वैच्छिक लाइसेंसिंग को प्राथमिकता दी।