वित्त वर्ष 2025 में भारत द्वारा बौद्धिक संपदा संबंधी दस्तावेजों का पंजीकरण
भारत ने वित्त वर्ष 2025 के दौरान बौद्धिक संपदा संबंधी दस्तावेजों के पंजीकरण में एक महत्वपूर्ण उपलब्धि हासिल की है, जो विभिन्न क्षेत्रों में मजबूत घरेलू नवाचार और विकास को प्रदर्शित करती है।
बौद्धिक संपदा अधिकार आवेदनों में समग्र वृद्धि
- बौद्धिक संपदा अधिकार (IPR) के कुल आवेदनों में पिछले वर्ष की तुलना में लगभग 20% की वृद्धि हुई और इनकी संख्या लगभग 7.5 लाख तक पहुंच गई।
पेटेंट आवेदन
- पेटेंट आवेदनों की संख्या 75,000 से अधिक हो गई।
- इन आवेदनों में से 61.9% से अधिक आवेदन भारतीय निवासियों द्वारा किए गए थे, जो देश के भीतर से नवाचार में मजबूत भागीदारी को दर्शाता है।
ट्रेडमार्क फाइलिंग
- ट्रेडमार्क संबंधी आवेदनों की संख्या 53 लाख से अधिक हो गई है।
- विभिन्न क्षेत्रों में मजबूत ब्रांडों के निर्माण को दर्शाते हुए, दोहरे अंकों की वृद्धि दर्ज की गई।
डिजाइन पंजीकरण
- डिजाइन पंजीकरणों ने 40,000 का आंकड़ा पार कर लिया है, जो रचनात्मक और औद्योगिक डिजाइनों में महत्वपूर्ण वृद्धि को दर्शाता है।
- बौद्धिक संपदा संबंधी दस्तावेजों में यह उछाल नवाचार और ब्रांड विकास पर भारत के बढ़ते जोर को उजागर करता है, जो इसकी आर्थिक और तकनीकी प्रगति में योगदान देता है।