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ईरान के परमाणु स्थलों पर हमलों के बाद IAEA के समक्ष चुनौतियाँ | Current Affairs | Vision IAS

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ईरान के परमाणु स्थलों पर हमलों के बाद IAEA के समक्ष चुनौतियाँ

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ईरान के परमाणु स्थलों पर हमले

संयुक्त राज्य अमेरिका और इज़राइल ने ईरान की परमाणु फैसिलिटी पर अभूतपूर्व हमले किए हैं। इससे कई वैश्विक चिंताएँ पैदा हुई हैं, जिनमें विकिरण रिसाव की संभावना भी शामिल है।

हमले के बाद की चिंताएँ 

  • अंतर्राष्ट्रीय परमाणु ऊर्जा एजेंसी (IAEA) और ईरान ने विकिरण के स्तर में तत्काल वृद्धि की कोई सूचना नहीं दी है। 
  • आक्रमण वाले स्थलों से परमाणु सामग्री की सुरक्षा और स्थान के बारे में अनिश्चितता बनी हुई है।  इन स्थानों में  नतांज, इस्फ़हान और फ़ोर्डो शामिल हैं। 
  • इन स्थलों तक IAEA की पहुंच में संभवतः व्यवधान उत्पन्न हो सकता है, जो वैश्विक निगरानी और सूचना एकत्रीकरण के लिए महत्वपूर्ण है। 

विकिरण जोखिम का आकलन 

परमाणु सुविधाओं में विकिरण के स्तर की निगरानी वास्तविक समय में की जाती है, जिसका डेटा अक्सर IAEA के साथ साझा किया जाता है। ईरान परमाणु अप्रसार संधि (NPT) के लिए प्रतिबद्ध है और उसे विकिरण निगरानी सहित IAEA सुरक्षा उपायों का पालन करना चाहिए।

  • विकिरण से निकलने वाली गामा किरणों का पता लम्बी दूरी से लगाया जा सकता है। यहां तक ​​कि उपग्रह भी इसका पता लगा सकते हैं। 
  • IAEA ने तत्काल पुष्टि की थी कि हमले के बाद विकिरण के स्तर में कोई वृद्धि नहीं हुई, जिसका श्रेय मौके पर मौजूद निगरानी उपकरणों को जाता है।

नुकसान का आकलन 

अधिकांश सुविधाओं की भूमिगत प्रकृति के कारण चल रहे मूल्यांकन में बाधा आ रही है:

  • फोर्डो और नतांज मुख्यतः भूमिगत रूप से काम करते हैं, जिससे क्षति का आकलन करना जटिल हो जाता है। 
  • IAEA के महानिदेशक राफेल मारियानो ग्रॉसी ने नतांज के संवर्धन संयंत्र में क्षति का उल्लेख किया तथा फोर्डो में गड्ढों का अवलोकन किया। हालांकि विस्तृत भूमिगत आकलन अभी लंबित है। 
  • इस्फ़हान की साईट में यूरेनियम रूपांतरण सुविधाएं भी शामिल हैं, जिसमें स्पष्ट क्षति दिखाई देती है। 

परमाणु सामग्री का लेखा-जोखा 

यह एक गंभीर चिंता का विषय बना हुआ है। IAEA वैश्विक स्तर पर परमाणु सामग्रियों पर नज़र रखने के लिए देशों की रिपोर्टों पर निर्भर करता है: 

  • NPT पर हस्ताक्षर करने वाले देश के रूप में ईरान को अपनी परमाणु सामग्री की स्थिति की रिपोर्ट IAEA को देनी होगी। 
  • ईरान के पास 400 किलोग्राम यूरेनियम है जो 60% तक संवर्धित है, जो हथियार बनाने लायक है। 
  • ईरान द्वारा की गई पूर्व-निवारक कार्रवाई के तहत संवेदनशील सामग्रियों को अज्ञात स्थानों पर ले जाया गया था। उपग्रह से प्राप्त चित्रों से इसकी पुष्टि होती है, जिनमें हमलों से पहले फोर्डो में वाहनों की आवाजाही दिखाई गई है।
  • विकिरण रिसाव की अनुपस्थिति, सामग्री के स्थानांतरण के ईरान के दावे का समर्थन करती है।

इन हमलों से शेष परमाणु सामग्रियों के सत्यापन और निरीक्षण के लिए IAEA के प्रयास जटिल हो गए हैं तथा बेहिसाब उपयोग या प्रसार का खतरा पैदा हो गया है। 

  • Tags :
  • International Atomic Energy Agency
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