अंतर्राष्ट्रीय परमाणु ऊर्जा एजेंसी (IAEA) के अनुसार इजरायली हमले में ईरान की भूमिगत नतांज यूरेनियम संवर्धन फैसिलिटी प्रभावित हुई | Current Affairs | Vision IAS
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अंतर्राष्ट्रीय परमाणु ऊर्जा एजेंसी (IAEA) के अनुसार इजरायली हमले में ईरान की भूमिगत नतांज यूरेनियम संवर्धन फैसिलिटी प्रभावित हुई

Posted 21 Jun 2025

15 min read

मध्य पूर्व में जारी संघर्ष के बीच ईरान की यूरेनियम संवर्धन (Uranium enrichment) सुविधाओं को हुए नुकसान को लेकर IAEA के खुलासे से परमाणु ठिकानों और सामग्रियों की सिक्योरिटी एवं सेफ्टी को लेकर गंभीर चिंताएं उत्पन्न हुई हैं।

न्यूक्लियर सिक्योरिटी के बारे में

  • परिभाषा:
    • न्यूक्लियर सिक्योरिटी का अर्थ निम्नलिखित का पता लगाना, रोकना और प्रतिक्रिया करना है-
      • परमाणु सुविधाओं व सामग्रियों तक अनधिकृत पहुंच व उन्हें हटाने का प्रयास करना;
      • उन्हें भौतिक क्षति पहुंचाना और अवैध तरीके से परमाणु सामग्री का हस्तांतरण करना; या 
      • परमाणु या रेडियोलॉजिकल सामग्री या उनसे जुड़ी सुविधाओं से संबंधित अन्य दुर्भावनापूर्ण कृत्य। 
    • वहीं न्यूक्लियर सेफ्टी से आशय परमाणु सामग्री या परमाणु ठिकानों की दुर्घटनाओं से सुरक्षा करना तथा ऐसी दुर्घटनाओं को रोकना है, ताकि इससे होने वाले विकिरण के खतरों को टाला जा सके।  
  • न्यूक्लियर सेफ्टी बनाम सिक्योरिटी: न्यूक्लियर सिक्योरिटी के तहत दुर्भावनापूर्ण खतरों (जैसे आतंकवाद, सुविधाओं को नुकसान पहुंचाना आदि) से निपटने के प्रयास किए जाते हैं। वहीं न्यूक्लियर सेफ्टी दुर्घटनाओं एवं त्रुटियों की रोकथाम से संबंधित है। 

न्यूक्लियर सेफ्टी और सिक्योरिटी सुनिश्चित करने में IAEA की भूमिका

  • स्थापना: IAEA की स्थापना 1957 में हुई थी। यह संयुक्त राष्ट्र का एक स्वायत्त संगठन है। 
    •  भारत इस संस्था का संस्थापक सदस्य है। 
  • कार्य: यह संस्था परमाणु ऊर्जा के शांतिपूर्ण उपयोग तथा फ़ूड सेफ्टी, कैंसर उपचार और सतत विकास में परमाणु तकनीकों का उपयोग जैसे विषयों पर कार्य करती है।
  • न्यूक्लियर सेफ्टी और सिक्योरिटी पर कन्वेंशंस:
    • परमाणु सामग्री के भौतिक संरक्षण पर कन्वेंशन: यह परमाणु सामग्री के भौतिक संरक्षण पर पहला बहुपक्षीय समझौता और कानूनी रूप से बाध्यकारी एकमात्र अंतर्राष्ट्रीय संधि है। 
    • रेडियोएक्टिव स्रोत की सिक्योरिटी और सेफ्टी पर आचार संहिता: यह IAEA द्वारा जारी वैधानिक रूप से गैर-बाध्यकारी दिशा-निर्देश है।
    • न्यूक्लियर सेफ्टी पर कन्वेंशन (CNS): इसका उद्देश्य भूमि पर असैन्य परमाणु ऊर्जा संयंत्रों का संचालन करने वाले अनुबंधित पक्षकारों को उच्च स्तर की सुरक्षा बनाए रखने के लिए प्रतिबद्ध करना है।  
    • न्यूक्लियर सेफ्टी पर वियना घोषणा-पत्र: इसका उद्देश्य परमाणु दुर्घटनाओं की रोकथाम करना और रेडिएशन के प्रभावों को कम करना है। 

न्यूक्लियर सेफ्टी और सिक्योरिटी के लिए संयुक्त राष्ट्र की अन्य पहलें

  • आतंकवादी बमबारी के दमन पर कन्वेंशन (Convention for the Suppression of Terrorist Bombings): इसमें रेडियोएक्टिव सामग्री के उपयोग वाले विस्फोटक हमलों सहित किन्हीं अन्य विस्फोटक हमलों की रोकथाम के लिए भी उपाय किए गए हैं।
  • परमाणु आतंकवाद से संबंधित कृत्यों के दमन के लिए अंतर्राष्ट्रीय कन्वेंशन (International Convention for the Suppression of Acts of Nuclear Terrorism: ICSANT)): यह कन्वेंशन सदस्य देशों पर परमाणु आतंकवाद को अपराध घोषित करने का दायित्व डालता है।
  • संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद के संकल्प:
    • आतंकवाद-रोधी व्यापक उपाय;
    • गैर-राज्य अभिकर्ताओं को सामूहिक विनाश के हथियार (WMD) हासिल करने से रोकना आदि।
  • Tags :
  • IAEA
  • न्यूक्लियर सिक्योरिटी
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