इस मिशन का उद्देश्य राष्ट्रीय सुरक्षा की चुनौतियों का समाधान करना है, ताकि विशेषकर सीमावर्ती क्षेत्रों में भारत के नागरिकों के अधिकारों, एकता और अखंडता की सुरक्षा सुनिश्चित की जा सके।

उठाए जाने वाले कदम
- सीमा प्रबंधन को मजबूत करना: सीमा पर बाड़ को आधुनिक बनाना; ड्रोन, सेंसर और AI का उपयोग करके सीमा की स्मार्ट निगरानी करना आदि।
- राष्ट्रीय शरणार्थी कानून बनाना: इसके तहत शरणार्थियों और अवैध प्रवासियों के बीच अंतर को स्पष्ट किया जाना चाहिए।
- बायोमेट्रिक रिकॉर्ड बनाए रखना: सभी अवैध प्रवासियों और शरणार्थियों का रिकॉर्ड रखना चाहिए, ताकि पहचान में धोखाधड़ी रोकी जा सके।
- भारतीय नागरिकों को राष्ट्रीय पहचान-पत्र (NID) जारी करना: NID/ भारतीय नागरिकों के राष्ट्रीय रजिस्टर (NRC) के कार्यान्वयन में तेजी लानी चाहिए।
- कानूनी एवं कूटनीतिक उपाय: सार्क/ बिम्सटेक जैसे मंचों का उपयोग करके बांग्लादेश और म्यांमार के साथ द्विपक्षीय प्रत्यावर्तन (Repatriation) समझौतों पर वार्ता करनी चाहिए।
- प्रत्यावर्तन का अर्थ है किसी व्यक्ति को उसके मूल देश में वापस भेजना।
- अंतर्राष्ट्रीय सहयोग: प्रत्यावर्तन सहित अवैध प्रवासन के प्रबंधन में सहायता के लिए शरणार्थियों के लिए संयुक्त राष्ट्र उच्चायुक्त (UNHCR)/ अंतर्राष्ट्रीय प्रवासन संगठन (IOM) के साथ सहयोग करना चाहिए।