GST का परिचय
1 जुलाई, 2017 को भारत में लागू किया गया वस्तु एवं सेवा कर (GST) एक महत्वपूर्ण कर सुधार था। इसने वैट, उत्पाद शुल्क और सेवा कर जैसे कई अप्रत्यक्ष करों की जगह ले ली, जिससे "एक राष्ट्र, एक कर" फ्रेमवर्क के तहत एक एकीकृत राष्ट्रीय बाजार का निर्माण हुआ।
GST का आर्थिक प्रभाव
- राजस्व सृजन: GST संग्रह 2024-25 में ₹22.08 लाख करोड़ तक पहुंच गया, जो साल-दर-साल 9.4% की वृद्धि दर्शाता है।
- आर्थिक दक्षता:
- इनपुट टैक्स क्रेडिट प्रणाली के माध्यम से उत्पादन लागत में कमी।
- ई-वे बिल जैसी डिजिटल प्रक्रियाओं से अनुपालन में सुधार।
- अंतर्राज्यीय जांच चौकियों को हटाकर लॉजिस्टिक्स में वृद्धि की गई, जिससे परिवहन समय में 20% की कमी आई।
तम्बाकू कराधान संबंधी चिंताएं
- स्वास्थ्य पर प्रभाव: तम्बाकू के कारण प्रतिदिन 3,500 से अधिक मौतें होती हैं तथा प्रतिवर्ष 2,340 बिलियन रुपए का आर्थिक बोझ पड़ता है।
- वर्तमान कराधान संबंधी मुद्दे:
- GST लागू होने के बाद से तम्बाकू पर कोई महत्वपूर्ण कर वृद्धि नहीं हुई।
- GST-पूर्व अवधि में नियमित कर वृद्धि के कारण तम्बाकू के उपयोग में 17% की गिरावट देखी गई।
- वर्तमान कर की दरें विश्व स्वास्थ्य संगठन द्वारा अनुशंसित खुदरा मूल्य के 75% से कम हैं (बीड़ी के लिए 22%, सिगरेट के लिए 54%, धूम्ररहित तम्बाकू के लिए 65%)।
- मूल्यानुसार कर पर भारी निर्भरता, तम्बाकू नियंत्रण के लिए GST को अप्रभावी बना देती है।
संरचनात्मक मुद्दे और सिफारिशें
- कर संरचना:
- हानिकारक उपभोग को कम करने में विशिष्ट उत्पाद शुल्क, यथामूल्य करों की तुलना में अधिक प्रभावी होते हैं।
- यद्यपि सिगरेट उपयोगकर्ताओं की संख्या 15% है, तथापि कर राजस्व में इसकी हिस्सेदारी 80% से अधिक है, जबकि बीड़ी पर कर कम लगता है।
- समाधान:
- तम्बाकू पर GST की दर बढ़ाकर 40% कर दी जाए तथा विशिष्ट उत्पाद शुल्क में वृद्धि की जाए।
- यथामूल्य और विशिष्ट घटकों को मिलाकर मिश्रित कर संरचना लागू करना।
अवैध व्यापार और शासन
- अध्ययनों से पता चलता है कि अवैध सिगरेटों का बाजार में केवल 2.7% से 6.6% हिस्सा है, जबकि उद्योग जगत का दावा है कि यह हिस्सा 25% है।
- अवैध व्यापार से निपटने के लिए केवल कर वृद्धि ही नहीं, बल्कि शासन की गुणवत्ता और प्रवर्तन भी महत्वपूर्ण है।
- भारत ने तम्बाकू उत्पादों में अवैध व्यापार को समाप्त करने के लिए विश्व स्वास्थ्य संगठन प्रोटोकॉल का अनुसमर्थन किया है, जिसे प्राथमिकता दिए जाने की आवश्यकता है।
निष्कर्ष
GST परिषद द्वारा दरों को तर्कसंगत बनाने पर विचार-विमर्श से तंबाकू कर की कमियों को दूर करने का अवसर मिलता है। तंबाकू पर GST की दरें और विशिष्ट उत्पाद शुल्क बढ़ाने से स्वास्थ्य और आर्थिक बोझ कम होगा और विकास लक्ष्यों के साथ तालमेल भी बनेगा।