एयर इंडिया के बोइंग 787-8 दुर्घटना की जांच
अहमदाबाद हवाई अड्डे से उड़ान भरने के कुछ ही समय बाद एयर इंडिया के बोइंग 787-8 विमान की दुखद दुर्घटना हो गई थी। नागरिक उड्डयन मंत्रालय (MoCA) की एक इकाई विमान दुर्घटना जांच ब्यूरो (AAIB) द्वारा इस दुर्घटना की जांच की जा रही है। यह घटना वैश्विक स्तर पर बोइंग 787 विमान की पहली दुर्घटना और चार दशकों में किसी भारतीय एयरलाइन के लिए पहली वाइड-बॉडी दुर्घटना है।
घटना का विवरण
- VT-ANB पंजीकरण वाला यह विमान अहमदाबाद से लंदन गैटविक के लिए उड़ान संख्या एआई-171 संचालित कर रहा था।
- 625 फीट की ऊंचाई पर सिग्नल खो गया तथा दुर्घटनाग्रस्त होने से पहले यह 475 फीट प्रति मिनट की ऊर्ध्वाधर गति से नीचे उतरा।
- दुर्घटना से पहले पायलटों ने अहमदाबाद हवाई यातायात नियंत्रण (ATC) को मे-डे कॉल किया था।
AAIB द्वारा प्रारंभिक साक्ष्य संग्रहण
बचाव कार्य पूरा हो जाने के बाद AAIB ने साक्ष्य एकत्र करने के लिए घटनास्थल की घेराबंदी किया। इसमें कॉकपिट वॉयस रिकॉर्डर (CVR) और फ्लाइट डेटा रिकॉर्डर (FDR) जैसे ब्लैक बॉक्स को रिकवर किया गया।
- साक्ष्य संग्रहण में प्रभाव के चिह्नों का मानचित्रण, मलबे के वितरण का रिकार्ड रखना तथा फोटोग्राफी और वीडियोग्राफी करना शामिल है।
- गवाहों के साथ साक्षात्कार तथा ऑनबोर्ड प्रणालियों, GPS उपकरणों और CCTV फुटेज से डेटा प्राप्त किया जाएगा।
- ATC, रडार स्टेशनों और मौसम संबंधी रिकॉर्ड से भी डेटा एकत्र किया जाएगा।
जांच की शुरुआत
- AAIB पायलटों और हवाई यातायात नियंत्रकों सहित डोमेन विशेषज्ञों वाली एक जांच टीम गठित करेगा।
- बोइंग इस टीम की सहायता करेगी तथा अमेरिकी राष्ट्रीय परिवहन सुरक्षा बोर्ड (NTSB) अमेरिकी जांचकर्ताओं की टीम का नेतृत्व करेगा।
- साक्ष्यों की गहन जांच और विश्लेषण से दुर्घटना के लिए जिम्मेदार परिस्थितियों और सुरक्षा मुद्दों की पहचान हो सकेगी।
रिपोर्ट को तैयार करना
जांच दल सभी तथ्यात्मक जानकारी, विश्लेषण, निष्कर्ष और सुरक्षा सिफारिशों सहित एक रिपोर्ट का मसौदा तैयार करेगा।
- मसौदा रिपोर्ट को अंतिम रूप दिए जाने से पहले "संबंधित राज्यों" द्वारा टिप्पणियों के लिए समीक्षा की जाएगी।
- यदि आवश्यक हो, तो आगे के विश्लेषण के लिए अतिरिक्त साक्ष्य एकत्र किए जा सकते हैं।
- अंतिम रिपोर्ट को सिफारिशों पर कार्रवाई के लिए DGCA और अन्य नियामक प्राधिकरणों के साथ साझा किया जाता है।
सरकार की प्रतिक्रिया
इस घटना के मद्देनजर सरकार विमानन सुरक्षा को मजबूत करने तथा भविष्य में ऐसी घटनाओं को रोकने के लिए विशेषज्ञों की एक उच्च स्तरीय समिति गठित करेगी।