ओजू जलविद्युत परियोजना
केंद्रीय पर्यावरण मंत्रालय के एक विशेषज्ञ पैनल ने 2,220 मेगावाट ओजू जलविद्युत परियोजना के लिए पर्यावरणीय मंजूरी की सिफारिश की है।
स्थान और क्षमता
- चीन सीमा के निकट ताकसिंग में सुबनसिरी नदी पर प्रस्तावित।
- सुबनसिरी बेसिन में नियोजित जलविद्युत परियोजनाओं में सबसे बड़ी।
- अन्य परियोजनाओं में नियारे, नाबा, नालो, डेंगसेर, अपर सुबनसिरी और लोअर सुबनसिरी शामिल हैं।
परियोजना का विवरण
- ओजू सुबनसिरी हाइड्रो पावर कॉर्पोरेशन प्राइवेट लिमिटेड द्वारा विकसित।
- मुख्य विद्युत संयंत्र क्षमता: 2,100 मेगावाट।
- बांध-टो संयंत्र क्षमता: 120 मेगावाट।
- 750 हेक्टेयर वन भूमि के परिवर्तन की आवश्यकता है।
- लगभग 43 हेक्टेयर भूमि जलमग्न हो जायेगी।
- नौ परिवारों का विस्थापन।
पर्यावरणीय चिंताएँ और आकलन
असम स्थित पर्यावरण कार्यकर्ता बिमल गोगोई ने पुराने अध्ययनों से जुड़ी समस्याओं पर प्रकाश डाला:
- संचयी प्रभाव आकलन (CIA) और वहन क्षमता अध्ययन (CCS) अंतिम बार 2014 में पूरा हुआ।
- विशेषज्ञ मूल्यांकन समिति (EAC) ने जल विज्ञान और पारिस्थितिक प्रवाह डेटा की समीक्षा के बाद प्रस्तुतियाँ स्वीकार कर लीं।
सार्वजनिक सुनवाई और सुरक्षा उपाय
- पिछले अगस्त में रेडी गांव में एक अनिवार्य सार्वजनिक सुनवाई हुई थी।
- हिमनद झील बाढ़ मूल्यांकन और बांध-टूटने का विस्तृत विश्लेषण किया गया।
- पैनल द्वारा की गई सिफारिशों के अनुसार बाढ़ के आकलन के डिजाइन में हिमनद झील की बाढ़ के परिदृश्य को भी ध्यान में रखा जाना चाहिए।