राष्ट्रमंडल खेल 2030 की मेजबानी के लिए भारत की दावेदारी
भारत, अहमदाबाद में 2030 के राष्ट्रमंडल खेलों (CWG) की मेजबानी करने के लिए तैयार है, जो इस आयोजन का शताब्दी संस्करण होगा। इस निर्णय को 2036 ओलंपिक की मेजबानी करने की भारत की महत्वाकांक्षा का हिस्सा माना जा रहा है।
चयन और अनुमोदन
- आयोजन स्थल की सिफ़ारिश: राष्ट्रमंडल खेल के कार्यकारी बोर्ड द्वारा अहमदाबाद को 'प्रस्तावित मेजबान' के रूप में अनुशंसित किया गया है। 26 नवंबर को ग्लासगो में होने वाली आम सभा के दौरान इसकी औपचारिक मंजूरी मिलने की उम्मीद है।
- पिछली मेजबानी: भारत ने आखिरी बार 2010 में राष्ट्रमंडल खेलों की मेजबानी की थी, जिसे खराब योजना, अवसंरचना में देरी और भ्रष्टाचार के आरोपों जैसी समस्याओं का सामना करना पड़ा था।
महत्व और लक्ष्य
- राष्ट्रीय दृष्टिकोण: भारतीय ओलंपिक संघ की अध्यक्ष पी.टी. उषा ने इस बात पर जोर दिया कि खेलों की मेजबानी भारत के 'विकसित भारत 2047' के दृष्टिकोण के अनुरूप है।
- युवाओं के लिए प्रेरणा: इन खेलों को युवाओं को प्रेरित करने, अंतर्राष्ट्रीय साझेदारियों को मजबूत करने और एक साझा राष्ट्रमंडल भविष्य में योगदान देने के एक मंच के रूप में देखा जा रहा है।
चुनौतियाँ और अवसर
- उम्मीदवार: अहमदाबाद और नाइजीरिया का अबुजा, केवल दो ही उम्मीदवार थे। यह आयोजन वित्तीय बाधाओं के कारण मेजबान खोजने के लिए संघर्ष करता रहा है।
- पिछली चुनौतियाँ: 2022 के राष्ट्रमंडल खेल डरबन के हटने के बाद बर्मिंघम में स्थानांतरित कर दिए गए थे और विक्टोरिया में होने वाले 2026 के खेल रद्द कर दिए गए, जिसके बाद ग्लासगो ने मेजबानी संभाली।
- रणनीतिक योजनाएँ: भारत का लक्ष्य पिछले अनुभवों से सीखते हुए पारदर्शिता और सुविधाओं के विकास में सुधार करके एक विश्वसनीय मेजबान के रूप में अपनी क्षमता का प्रदर्शन करना है।
भविष्य के विकास
- अतिरिक्त आयोजन: भारत अन्य अंतरराष्ट्रीय आयोजनों को लक्षित कर रहा है, जिसमें 2027 महिला वॉलीबॉल विश्व चैम्पियनशिप और 2028 विश्व U20 एथलेटिक्स चैम्पियनशिप शामिल हैं।
- प्रमुख आयोजन स्थल: 825 करोड़ रुपये की लागत से निर्मित नारनपुरा स्पोर्ट्स कॉम्प्लेक्स और प्रस्तावित सरदार वल्लभ भाई पटेल एन्क्लेव मुख्य आयोजन स्थल होंगे।
राष्ट्रमंडल खेल मूल्यांकन
- अहमदाबाद के लिए सिफारिश एक विस्तृत मूल्यांकन प्रक्रिया के बाद की गई, जिसमें तकनीकी वितरण, एथलीटों का अनुभव, अवसंरचना और शासन का आकलन किया गया।
- भारत का प्रस्ताव राष्ट्रमंडल मूल्यों के प्रति उसकी प्रतिबद्धता तथा विविधतापूर्ण एवं बड़े पैमाने पर कार्यक्रम आयोजित करने की उसकी क्षमता पर जोर देता है।