यूनेस्को के अंतर-सरकारी समुद्र विज्ञान आयोग (यूनेस्को-IOC) ने ओडिशा के गांवों को 'सुनामी के लिए तैयार’ गांव के रूप में मान्यता प्रदान की | Current Affairs | Vision IAS
News Today Logo

यूनेस्को के अंतर-सरकारी समुद्र विज्ञान आयोग (यूनेस्को-IOC) ने ओडिशा के गांवों को 'सुनामी के लिए तैयार’ गांव के रूप में मान्यता प्रदान की

Posted 16 Nov 2024

Updated 18 Nov 2024

13 min read

यूनेस्को-IOC ने इंडोनेशिया में दूसरी वैश्विक सुनामी संगोष्ठी के दौरान ओडिशा के 24 तटीय गांवों को “सुनामी के लिए तैयार” के रूप में मान्यता प्रदान की है। यह मान्यता राष्ट्रीय सुनामी तैयारी मान्यता बोर्ड (NTRB) द्वारा सत्यापन के आधार पर दी गई है। 

  • NTRB सुनामी तैयारी मान्यता कार्यक्रम (TRRP) लागू करता है। इस निकाय में भारतीय राष्ट्रीय महासागर सूचना सेवा केंद्र (INCOIS) के वैज्ञानिक और राष्ट्रीय आपदा प्रबंधन प्राधिकरण (NDMA) के अधिकारी शामिल हैं।

यूनेस्को-IOC सुनामी तैयारी मान्यता कार्यक्रम (TRRP) के बारे में 

  • TRRP एक स्वैच्छिक व अंतर्राष्ट्रीय समुदाय-आधारित प्रयास है। यह वैश्विक तटीय क्षेत्रों में जोखिम की रोकथाम और शमन को बढ़ावा देने का कार्य करता है।
  • उद्देश्य: सुनामी जैसी आपदा से जीवन, आजीविका और संपत्ति की रक्षा करना। इसके लिए, TRRP जागरूकता और तैयारी संबंधी रणनीतियों के माध्यम से सुनामी के प्रति प्रतिरोधकता को बढ़ावा देता है। 
  • कार्य-प्रणाली: इसमें लगातार मूल्यांकन के लिए 12 तैयारी संकेतक शामिल हैं, तथा एक बार मान्यता मिलने के बाद, इसे हर चार साल में नवीनीकृत किया जाता है।

सुनामी के बारे में

  • परिभाषा: भूकंप, ज्वालामुखी विस्फोट, भूस्खलन या तटीय चट्टानों के गिरने की वजह से महासागरीय धरातल में अचानक हलचल होती है। इसके कारण जल का विस्थापन होता है। इसके परिणामस्वरूप, ऊर्ध्वाधर विशाल लहरों की एक श्रृंखला उत्पन्न होती है, जिसे सुनामी कहा जाता है।
  • उत्पत्ति: शब्द "सुनामी" में जापानी शब्द "त्सू" का अर्थ बंदरगाह और "नामी" का अर्थ लहर होता है। 
  • विशेषताएं:
    • गति: इन लहरों की गति 500 मील प्रति घंटे (mph) से अधिक हो सकती है। यद्यपि, जैसे ही ये लहरें उथले जल में प्रवेश करती हैं, तो इनकी गति 20 से 30 मील प्रति घंटे तक धीमी हो जाती है। इस दौरान इनकी तरंगदैर्ध्यता घट जाती है, जबकि ऊंचाई बढ़ जाती है।
    • सुनामी लहर की गति लहर के स्रोत की दूरी पर निर्भर नहीं करती है, बल्कि यह समुद्र की गहराई पर निर्भर करती है।

भारत द्वारा उठाए गए कदम

  • भारतीय सुनामी प्रारंभिक चेतावनी केंद्र (ITEWC): यह लास्ट-माइल कनेक्टिविटी के लिए हिंद महासागर के 25 तटीय देशों को सुनामी संबंधी सलाह प्रदान करता है।
    • इसमें सुनामी बोय सिस्टम का एक नेटवर्क है, जो रियल टाइम डेटा संचारित करता है।
    • INCOIS ने भारतीय तट पर ज्वार गेज स्टेशनों का एक रियल टाइम नेटवर्क स्थापित किया है।
  • भारत में सुनामी के प्रबंधन पर NDMA दिशा-निर्देश लागू हैं। 
  • सुनामी की मॉडलिंग और मानचित्रण: इसे भारतीय तट के साथ-साथ प्रारंभिक सुनामी और तूफान महोर्मि चेतावनी प्रणाली के एक भाग के रूप में स्थापित किया गया है।
  • Tags :
  • UNESCO
  • राष्ट्रीय सुनामी तैयारी मान्यता बोर्ड
  • NTRB
  • सुनामी
  • सुनामी के लिए तैयार गांव
  • दूसरी वैश्विक सुनामी संगोष्ठी
  • National Tsunami Ready Recognition Board
  • Tsunami
Watch News Today
Subscribe for Premium Features