पी.एम. श्री स्कूल (पी.एम. स्कूल्स फॉर राइजिंग इंडिया)
Posted 01 Jun 2025
Updated 24 Nov 2025
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सुर्ख़ियों में क्यों?
हाल ही में, कुछ राज्यों ने पी.एम. श्री स्कूल योजना के कार्यान्वयन का विरोध किया है।
उद्देश्य
विशेषताएं
राष्ट्रीय शिक्षा नीति (NEP), 2020 के सभी घटकों को प्रदर्शित करने के लिए देश भर में 14,500 से अधिक स्कूलों को पी.एम. श्री स्कूलों के रूप में विकसित करना।
21वीं सदी के महत्वपूर्ण कौशल से युक्त समग्र और पूर्ण-विकसित व्यक्तियों का विकास करना व उन्हें आगे बढ़ने में मदद करना।
संबंधित मंत्रालय: शिक्षा मंत्रालय
योजना का प्रकार: केंद्र प्रायोजित योजना
लाभार्थी: इस योजना से 20 लाख से अधिक छात्रों को प्रत्यक्ष लाभ मिलने की उम्मीद है।
अवधि: 5 वर्ष (2022-23 से 2026-27)
स्कूलों के चयन की विधि: एक ऑनलाइन पोर्टल के माध्यम से स्कूलों द्वारा स्व-आवेदन के साथ पारदर्शी चैलेंज मोड के जरिए। (इन्फोग्राफिक देखें)
कार्यान्वयन रणनीति: इसे समग्र शिक्षा, केंद्रीय विद्यालय संगठन (KVS) और नवोदय विद्यालय समिति (NVS) की मौजूदा प्रशासनिक संरचनाओं के माध्यम से कार्यान्वित किया जाएगा।
उच्च गुणवत्ता वाली शिक्षा:
NEP, 2020 के अनुरूप अनुभवात्मक और समग्र शिक्षा शास्त्र (Pedagogy) को अपनाना।
वैचारिक समझ और वास्तविक जीवन के उपयोग पर ध्यान केंद्रित करने वाला क्षमता-आधारित आकलन।
ग्रीन स्कूल:
सौर पैनल, जल संरक्षण, अपशिष्ट प्रबंधन और प्लास्टिक मुक्त पहलों जैसी पर्यावरण अनुकूल प्रथाओं को शामिल करना।
उन्नत अवसंरचना:
स्मार्ट कक्षाएं, डिजिटल पुस्तकालय, व्यावसायिक (Vocational) प्रयोगशालाएं, खेल के मैदान और विज्ञान संबंधी अत्याधुनिक प्रयोगशालाएं।
जादुई पिटारा और बाहरी खेल सामग्री सहित अलग-अलग ग्रेड्स के लिए उपयुक्त फर्नीचर एवं सीखने के उपकरण।
कौशल विकास:
व्यावसायिक या पेशेवर प्रशिक्षण, इंटर्नशिप और उद्यमिता के अवसरों को शामिल करना।
स्थानीय उद्योगों और सेक्टर स्किल काउंसिल के साथ सहयोग करना।
मेंटरिंग और नेतृत्व:
पी.एम. श्री (PM SHRI) स्कूल आस-पास के स्कूलों का मार्गदर्शन और नेतृत्व करेंगे। इससे गुणवत्तापूर्ण शिक्षा के लिए एक क्रमिक प्रभाव उत्पन्न होगा।
समावेशी शिक्षा:
लड़कियों और विशेष आवश्यकता वाले बच्चों (CWSN) के लिए सुरक्षित अवसंरचना के साथ समानता एवं समावेशन पर ध्यान केंद्रित करना।
शिक्षा के माध्यम के रूप में मातृभाषा/ स्थानीय भाषाओं को बढ़ावा देना।
निगरानी और गुणवत्ता संबंधी आश्वासन:
स्कूल गुणवत्ता आकलन फ्रेमवर्क (SQAF) का उपयोग करके नियमित मूल्यांकन करना।
चयन प्रक्रिया और निगरानी के लिए स्कूलों की जियो-टैगिंग करना।
अभिसरण और सामुदायिक भागीदारी:
अवसंरचना के विकास और संसाधन जुटाने के लिए पंचायती राज संस्थाओं, शहरी स्थानीय निकायों और सामुदायिक समूहों के साथ सहयोग करना।
NEP, 2020 के लक्ष्यों के पालन को सुनिश्चित करने के लिए कठोर निगरानी सुनिश्चित करना।