'द साइंस' पत्रिका में प्रकाशित एक हालिया अध्ययन के अनुसार 2023 में वैश्विक औसत तापमान पूर्व-औद्योगिक स्तरों से लगभग 1.5 डिग्री सेल्सियस ऊपर पहुंच गया था। इसमें 0.2°C वृद्धि के लिए निम्न-ऊंचाई वाले बादलों का घटता आवरण जिम्मेदार हो सकता है।
अध्ययन के मुख्य बिंदुओं पर एक नजर
- निम्न-ऊंचाई वाले बादलों का आवरण सूर्य के प्रकाश को अंतरिक्ष में परावर्तित करके पृथ्वी को ठंडा रखने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाते हैं। 2023 में वैश्विक स्तर पर इन बादलों के आवरण में 1.5% की गिरावट आई थी। पिछले एक दशक में इन बादलों के आवरण में 1.27% की औसत गिरावट जारी है।
- इस गिरावट के कारण पृथ्वी के एल्बीडो में काफी कमी आई है। पृथ्वी के वायुमंडल और धरातल के संपर्क में आने के बाद सौर विकिरण का जो भाग अंतरिक्ष में परावर्तित हो जाता है, उसे एल्बीडो कहते हैं।
- बादलों के आवरण में कमी उत्तरी मध्य-अक्षांशों और उष्णकटिबंधीय महासागरों, विशेषकर अटलांटिक महासागर में सर्वाधिक स्पष्ट देखी गई थी।
- इसके अलावा, एल्बीडो में लगभग 15% की गिरावट आर्कटिक हिमवारण और समुद्री हिमवारण में गिरावट के चलते हुई है। आर्कटिक और समुद्री हिमवारण सूर्य के प्रकाश को परावर्तित करने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाते हैं।
- बादलों के आवरण में कमी के लिए जिम्मेदार कारण: ऐसा मुख्य रूप से वायुमंडल में मानव जनित एरोसोल की कम सांद्रता के कारण हो सकता है। विशेष रूप से, मरीन फ्यूल पर सख्त नियमों के लागू होने के कारण एरोसोल का स्तर घट गया है।
- एरोसोल वायुमंडल में निलंबित छोटे कण होते हैं तथा जलवायु, मौसम, स्वास्थ्य और पारिस्थितिकी को प्रभावित करते हैं।
निम्न ऊंचाई वाले बादल
उच्च ऊंचाई वाले बादल
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