अमेरिकी राष्ट्रपति ने सेंट्रल बैंक डिजिटल करेंसी (CBDC) पर प्रतिबंध लगाने का कार्यकारी आदेश जारी किया | Current Affairs | Vision IAS
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    अमेरिकी राष्ट्रपति ने सेंट्रल बैंक डिजिटल करेंसी (CBDC) पर प्रतिबंध लगाने का कार्यकारी आदेश जारी किया

    Posted 25 Jan 2025

    11 min read

    यह आदेश संयुक्त राज्य अमेरिका के अधिकार क्षेत्र में US CBDC को जारी करने, प्रचलन में लाने और उपयोग करने पर प्रतिबंध लगाता है। US CBDC को ‘डिजिटल डॉलर’ के रूप में भी जाना जाता है। 

    सेंट्रल बैंक डिजिटल करेंसी (CBDC) के बारे में

    • परिभाषा: CBDC देश की संप्रभु मुद्रा का इलेक्ट्रॉनिक संस्करण है। इसे संबंधित देश के केंद्रीय बैंक द्वारा जारी किया जाता है।
      • यह क्रिप्टोकरेंसी से अलग है, जो प्रकृति में विकेन्द्रीकृत होती है। 
    • CBDC के प्रकार: 
      • होलसेल CBDC: वित्तीय संस्थानों और बाजार सहभागियों द्वारा बड़े पैमाने पर लेन-देन के लिए इसका उपयोग किया जाता है। जैसे कि बैंकों के बीच अंतरण, प्रतिभूति निपटान आदि।  
      • रिटेल CBDC: इसे खुदरा उपभोक्ताओं, आम लोगों और व्यवसाय द्वारा दैनिक लेन-देन करने के लिए उपयोग में लाया जाता है। ये निम्नलिखित 2 प्रकार के होते हैं: 
        • टोकन-आधारित: निजी और सार्वजनिक कुंजियों का उपयोग करके एक्सेस किया जाता है। इससे अनाम (Anonymous) लेन-देन की सुविधा मिलती है।
        • खाता-आधारित: उपयोगकर्ताओं को अपने खातों तक पहुंचने और उनका उपयोग करने के लिए डिजिटल पहचान की आवश्यकता होती है। 
    • CBDC की विशेषताएं:
      • इसे भुगतान के माध्यम के रूप में अवश्य स्वीकार किया जाना चाहिए। यह वैध मुद्रा है तथा सभी नागरिकों, उद्यमों और सरकारी एजेंसियों द्वारा मूल्य का सुरक्षित भंडारण है। 
      • उपयोग में सुविधा: इससे मुद्रा जारी करने और लेन-देन की लागत कम होने की उम्मीद है। 
      • मौजूदा मुद्रा से अलग: यह केंद्रीय बैंक (RBI) की देनदारी है, न कि किसी वाणिज्यिक बैंक की। 

    CBDC से संबंधित समस्याएं: 

    • वित्तीय प्रणाली की स्थिरता को खतरा; व्यक्तिगत गोपनीयता और सुरक्षा संबंधी जोखिम; साइबर सुरक्षा चुनौतियां आदि। 

    भारत में CBDC पहल- RBI का ई-रुपी (e₹)

    • उत्पत्ति: इसे भारतीय रिजर्व बैंक ने 2022 में लॉन्च किया था। 
    • प्रकार: यह भारतीय रुपए का डिजिटल संस्करण है। इसका फिएट मुद्रा के साथ वन-टू-वन रूप में विनिमय किया जा सकता है। 
    • बैंकों और गैर-बैंकों द्वारा पेश किए गए e-वॉलेट में e₹ को रखा जा सकता है और इसका लेन-देन किया जा सकता है। इसका उपयोग करके लोगों के बीच आपसी भुगतान या लोगों और व्यापारियों के बीच लेन-देन किया जा सकता है। 
    • Tags :
    • CBDC
    • सेंट्रल बैंक डिजिटल करेंसी
    • क्रिप्टोकरेंसी
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