केंद्रीय कृषि और किसान कल्याण मंत्रालय ने 2024-25 कृषि वर्ष के लिए फसल उत्पादन के अंतिम अनुमान जारी किए हैं। इसमें रिकॉर्ड उत्पादन श्रृंखला दर्ज की गई है।
अनुमानों का अवलोकन
- खाद्यान्न: भारत के सभी प्रमुख अनाजों (चावल, गेहूं, मक्का और मोटा अनाज) की उपज में वृद्धि दर्ज की गई है।
- तिलहन: 2023-24 की तुलना में 8% से अधिक की अनुमानित वृद्धि दर्ज की गई है।
- इस वृद्धि के मुख्य चालक सोयाबीन और मूंगफली हैं।
उत्पादन में वृद्धि के लिए सरकारी पहलें
- न्यूनतम समर्थन मूल्य (MSP) खरीद आश्वासन: दालों विशेष रूप से तूर, उड़द, चना और मूंग के लिए MSP खरीद आश्वासन ने बड़ी संख्या में किसानों को लाभ पहुंचाया है।
- दलहन आत्मनिर्भरता मिशन (2025-26 से 2030-31): इसका उद्देश्य दलहन उत्पादन में आत्मनिर्भरता प्राप्त करना है। इसके लिए निम्नलिखित कदम उठाए जाएंगे-
- घरेलू दलहन उत्पादन में उल्लेखनीय वृद्धि की जाएगी;
- आयात पर निर्भरता कम की जाएगी; तथा
- किसानों की आय में निरंतर सुधार किया जाएगा।
- उल्लेखनीय है कि वैश्विक स्तर पर, भारत दालों का सबसे बड़ा उत्पादक, उपभोक्ता और आयातक है।
- सिंचाई विकास: प्रधान मंत्री कृषि सिंचाई योजना (PMKSY), सूक्ष्म सिंचाई कोष, आदि।
- राष्ट्रीय सतत कृषि मिशन: इसमें उत्पादकता और संधारणीयता बढ़ाने के लिए वैकल्पिक एवं जैविक उर्वरकों का उपयोग शामिल है।