प्रवासी भारतीय दिवस प्रत्येक दो वर्षों में एक बार मनाया जाता है। इसे 9 जनवरी को मनाया जाता है। इसका उद्देश्य भारत सरकार के साथ प्रवासी भारतीय समुदाय के जुड़ाव को मजबूत करना है।
- 09 जनवरी 1915 को महात्मा गांधी दक्षिण अफ्रीका से भारत वापस आये थे। यह दिवस इसी की स्मृति में मनाया जाता है।
भारतीय प्रवासी

- भारतीय प्रवासियों के बारे में: उन लोगों को भारतीय प्रवासी कहा जाता है, जो उन क्षेत्रों से चले गए हैं, जो वर्तमान में भारतीय गणराज्य की सीमाओं के भीतर हैं।
- इनमें शामिल हैं: अनिवासी भारतीय (NRI), भारतीय मूल के व्यक्ति (PIO) और ओवरसीज सिटीजन ऑफ इंडिया (OCI)।
- 2015 में PIO और OCI कार्ड धारकों को एक श्रेणी OCI के अंतर्गत मिला दिया गया था।
- भारतीय प्रवासियों की स्थिति: मई 2024 तक के आंकड़ों के अनुसार दुनिया भर में लगभग 35.42 मिलियन प्रवासी भारतीय हैं। भारत के विदेश मंत्रालय के अनुसार, इनमें लगभग 15.85 मिलियन NRIs शामिल हैं।
- संयुक्त राज्य अमेरिका में सबसे अधिक 5.4 मिलियन प्रवासी भारतीय हैं।
प्रवासी भारतीयों का महत्वपूर्ण योगदान
- आर्थिक: प्रवासी भारतीयों द्वारा विदेशों से भेजी जाने वाली धनराशि देश (विशेष रूप से ग्रामीण क्षेत्रों) के सामाजिक-आर्थिक विकास के लिए महत्वपूर्ण है।
- ज्ञान हस्तांतरण: प्रवासी भारतीयों से हस्तांतरित होने वाला तकनीकी ज्ञान और वित्त भारत के घरेलू उद्यमशीलता इकोसिस्टम को बढ़ावा देता है।
- इससे विदेशी निवेशकों में विश्वास सृजित करने में मदद मिलती है, जिसके परिणामस्वरूप देश में प्रत्यक्ष विदेशी निवेश (FDI) का प्रवाह बढ़ता है।
- कूटनीति: दक्षिण एशिया व पश्चिम एशिया में प्रवासी भारतीयों की विशाल आबादी परस्पर संबंधों को बढ़ाने व पोषित करने में योगदान देती है। साथ ही, भारत की वैश्विक छवि को सकारात्मक रूप से आकार देने का अवसर भी प्रदान करती है।
भारतीय संस्कृति को बढ़ावा देना: वे भारतीय संगीत, भोजन, आध्यात्मिकता आदि को लोकप्रिय बनाकर सांस्कृतिक आदान-प्रदान को बढ़ावा देते हैं। इस प्रकार भारत की सॉफ्ट पावर को मज़बूत कर रहे हैं।
प्रवासी भारतीयों के साथ सहभागिता बढ़ाने के लिए शुरू की गई कुछ पहलें
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